घर पहुंच सेवा के रूप में होगा रेडी-टू-ईट का वितरण सार्वजनिक कार्यक्रम, बैठकों को छोड़कर पोषण और शिक्षा जागरूकता संबंधी गतिविधियां रहेंगी जा...
घर पहुंच सेवा के रूप में होगा रेडी-टू-ईट का वितरण
सार्वजनिक कार्यक्रम, बैठकों को छोड़कर पोषण और शिक्षा जागरूकता संबंधी गतिविधियां रहेंगी जारी
रायपुर । असल बात न्यूज।
कोविड-19 के वर्तमान बढ़ते प्रसार को देखते हुए राज्य शासन ने प्रदेश के सभी आंगनबाड़ी केंद्रों तथा मिनी आंगनबाड़ी केंद्रों का संचालन तत्काल प्रभाव से आगामी आदेश तक बंद किए जाने का आदेश जारी किया है। नवा रायपुर स्थित मंत्रालय से महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा इस आशय का परिपत्र विभागीय संचालक सहित सभी संभागायुक्तों, कलेक्टरों, जिला कार्यक्रम अधिकारियों और बाल विकास परियोजना अधिकारियों को जारी कर दिया गया है।
आंगनबाड़ी केन्द्र तथा मिनी आंगनबाड़ी केन्द्रों को बंद रखे जाने की अवधि में सभी श्रेणी के पात्र हितग्राहियों को प्रावधान अनुसार रेडी-टू-ईट का वितरण किया जाएगा। 3 से 6 वर्ष के बच्चों को गरम भोजन के स्थान पर 6 माह से 3 वर्ष के बच्चों के लिए निर्धारित रेडी टू ईट तथा गर्भवती महिलाओं को गरम भोजन के स्थान पर शिशुवती महिलाओं के लिए निर्धारित रेडी टू ईट का वितरण किया जायेगा। यह सामग्री आंगनबाड़ी केन्द्र से वितरित न किया जाकर घर पहुंच सेवा के रूप दी जायेगी।
मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान के अन्तर्गत जिला स्तर पर निर्धारित मीनू अनुसार पोषण सामग्री का रेडी टू ईट के रूप में वितरण किया जाएगा। इस दौरान कोविड के प्रोटोकाल को ध्यान में रखते हुए बच्चों की वृद्धि निगरानी तथा बच्चों एवं महिलाओं का नियमित टीकाकरण व स्वास्थ्य जांच के लिए स्वास्थ्य विभाग से आवश्यक समन्वय करने कहा गया है। परिपत्र में बताया गया है कि सार्वजनिक कार्यक्रम जैसे - सुपोषण चौपाल, समूह की बैठके इत्यादि नहीं होंगे पर गृह भेंट के माध्यम से स्वास्थ्य एवं पोषण शिक्षा तथा सजग अभियान अन्तर्गत ईसीसीई की गतिविधियां निरंतर रखी जायेंगी। पोषण पखवाड़ा में भी सार्वजनिक कार्यक्रम, बैठकों को छोड़कर शेष गतिविधि निरंतर रखी जा सकती हैं।
अधिकारियों को आंगनबाड़ी केन्द्रों में उपलब्ध चावल व अन्य कच्ची सामग्रियों को खराब होने से बचाने के लिए सुरक्षित भंडारण सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके साथ ही आंगनबाड़ी केन्द्रों में स्वच्छता बनाये रखने, नियमित साफ-सफाई सुनिश्चित करने कहा गया है। साथ ही आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा ऑनलाईन प्रतिवेदन व अन्य जानकारियों का निरंतर प्रवाह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।