" नशे" का अवैध घिनौना कारोबार बहुत गंभीर मामला है और समाज के सामने बड़ी चुनौती है। ऐसे मामलों में जो फ्रंट पर आरोपी है, उसे पकड़...
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"नशे" का अवैध घिनौना कारोबार बहुत गंभीर मामला है और समाज के सामने बड़ी चुनौती है। ऐसे मामलों में जो फ्रंट पर आरोपी है, उसे पकड़ लेना सिर्फ, किसी पेड़ की एक टहनी को काटने के समान है, असल में जब ऐसे मामलों में कार्रवाई यहीं समाप्त हो जाती है तो, पूरा पेड़ तो बचे ही रह जाता है, और फिर यह आगे फलने फूलने और आगे बढ़ने लगता है। यह सच्चाई है कि जो आरोपी पकड़े जाते हैं वे नशे की टेबलेट के मैन्युफैक्चरर तो नहीं होते हैं, ना ही भगवान उन्हें, इसे परोस जाते हैं । ऐसे में स्वाभाविक है कि कोई बड़ा रैकेट नशीली टेबलेट को खपाने का काम कर रहा है। आरोपी से इसके बारे में उगलवाया जाना चाहिए और सारी कड़ी का पर्दाफाश होना चाहिए। इसका भी पता चलना चाहिए कि ऐसी नशीली दवाइयों के बेचने का मकसद सिर्फ पैसा कमाना है कि कहीं इसका, समाज में नशेड़ी युवाओं का एक बड़ा तबका तैयार करने और समाज में विधानसभा का करने का बड़ा मकसद तो नहीं है।"
दुर्ग, भिलाई।
असल बात न्यूज़।।
चित्र में आप जो देख रहे हैं वह नशीली दवाइयों का पत्ता है। यह नशीली टेबलेट अपेक्षाकृत काफी सस्ते में मिल जाती है। इतनी सस्ती कि आपके जेब में कुछ ही रुपए हैं तो भी आप इसे खरीद सकते हैं। लेकिन इसका सेवन काफी खतरनाक साबित होता है। इसके सेवन से व्यक्ति काफी उग्र हो जाता है। उग्रता में वह कुछ भी करने को उतारू होता है, उसका दिलो-दिमाग अनियंत्रित होने लगता है। उसे ऐसा लगने लगता है कि वह हवा में उड़ रहा है और दुनिया में कुछ भी कर सकता है और ज्यादातर मामलों में इसका सेवन करने वाले अपने आप को काफी शक्तिशाली समझते हुए मारपीट, चाकूबाजी जैसे अपराध करने लगते है। ड्रग्स माफिया से जुड़े लोग अभी "युवाओं को" ऐसी नशीली टेबलेट के सेवन का आदि बना रहे हैं।इस नशीली टेबलेट को बेचने वालों का हर जगह जाल फैलता जा रहा है। आप पाएंगे कि पिछले दिनों जो तमाम अपराध हुए हैं उसमें हत्या की घटनाएं भी शामिल हैं वे सब अपराध ऐसे ही नशे की चीजों को लेकर ही हुए हैं। और अभी पुलिस ने इतनी बड़ी मात्रा में इस नशे की टेबलेट को बरामद किया है कि उसकी मात्रा जानकर आप दंग रह जाएंगे। इससे इनकार नहीं किया जा सकता कि यह सब नशा आम लोगों में खपाने की तैयारी की गई थी। कुछ पैसे के लालच में, युवा वर्ग को बरगलाने नशे के सौदागर यह सब काम कर रहे हैं।इससे जो इसका सेवन करता है उसकी जिंदगी तो बर्बाद ही होती है, उसके परिवार का भविष्य दांव पर लग जाता है धुंधला हो जाता है। पूरा परिवार बर्बाद हो रहा हैं।
यह भी देखा गया है कि इसका सेवन करने वाले आज नहीं तो कल किसी ना किसी अपराध में फंसने की वजह से पुलिस के चंगुल में जरूर फंस रहे हैं। नशे के सौदागर इस तरह से आम लोगों तक नशे की चीजें खपाने का काम कर रहे हैं। लोग दारु की बात करते हैं लेकिन देखा जाए तो ये नशे के टेबलेट उससे अधिक खतरनाक साबित हो रहे हैं और समाज में विकृति फैला रहे हैं। इस मामले में पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली थी। सूचना पक्की थी। और उसके बाद कार्रवाई की गई। पुलिस मौके आईटीआई चौक केनाल रोड के समीप खुर्सीपार पर पहुंची तो वहां जैसी जानकारी मिली थी नीले कलर की वह मोटरसाइकिल पाई गई। उस संदिग्ध व्यक्ति के पास नीले रंग का बैग भी मिला और जब जांच की गई जो पूरी सूचना सही साबित हुई। पुलिस को आरोपी के पास इतने भारी पैमाने पर नशे का टैबलेट होने की जानकारी मिली थी तो उससे प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए इसकी पूरी जानकारी जिला पुलिस अधीक्षक डॉ अभिषेक पल्लव, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शहर संजय गुरु और नगर पुलिस अधीक्षक छावनी कौशलेंद्र देव पटेल को दी गई। मामले की गंभीरता को समझते हुए आरोपी को रंगे हाथ पकड़ने की रणनीति बनाई गई। तहसीलदार से भी बातचीत कर घटनास्थल पर बुलाया गया। इसके बाद आरोपी के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट के तहत कार्रवाई की गई।
पुलिस के द्वारा आरोपी का नाम समाउल उर्फ शैम उम्र 22 वर्ष निवासी इस्लाम नगर संडे मार्केट के पास बताया गया है।
आरोपी के पास से उसकी पैशन प्रो गाड़ी और नीले रंग के बैग में भारी मात्रा में नशे की टेबलेट पाई गई। पुलिस के अनुसार आरोपी के पास से प्रतिबंधित नशीली दवा नाइट्रोजेपास टेबलेट, आईपी नाइट्रावेट 10 का सात पत्ता, कुल 220 टेबलेट बरामद की गई है। आरोपी से नशे की ज्योत टेबलेट बरामद की गई है, इसकी कीमत बहुत अधिक नहीं है वरन बहुत सस्ती है लेकिन ये नशे की दवाई सेवन करने वालों का जीवन बर्बाद कर देने वाली है, खासतौर पर युवा इसका सेवन कर बर्बाद होते जा रहे हैं। उनमें इसका सेवन करने की लत पड़ती जा रही है। और जब यह नशीली tablet नहीं मिलती तो इसका सेवन करने वाले व्यग्र हो जाते हैं, तड़पने लगते हैं और इसकी खोज में भटकने लगते हैं। इससे समझा जा सकता है कि यह नशीली टेबलेट, समाज में कितना विकृति पैदा करने वाली है। ऐसे दवाइयों को खपाने वाले कितने अधिक लोग हैं इसका पता कर पाना आसान नहीं है। वही यह प्रतिबंधित दवाइयां लाई कहां से जा रही हैं इसे भी पता करने की जरूरत है। यह काफी गंभीर सवाल है जिसका पर्दाफाश होना अत्यंत जरूरी है। जब तक इन चीजों का सही तरीके से पर्दाफाश नहीं हो सकेगा नशे के सौदागर समाज में सक्रिय रहेंगे और इनकी घातक प्रवृत्ति लगातार बढ़ती जायेगी।इस मामले में यह भी महत्वपूर्ण बात है कि जिस आरोपी को पकड़ा गया है उसकी उम्र सिर्फ 22 साल है। ऐसे में इसकी अधिक आशंका हो सकती है कि वह युवाओं को अपनी और अधिक से अधिक आकर्षित कर सकता है। अपने जाल में फंसा सकता है। इसकी आशंका भी काफी अधिक है कि वह यह अवैध काम सिर्फ अपने दम पर नहीं कर रहा है तथा उसे कहीं ना कहीं से यहां अवैध काम करने का संरक्षण, समर्थन मिल रहा है। आरोपी नशे का सामान बेचने के लिए दिन में ही पूरी दमदारी के साथ खड़ा था। आरोपी खुर्सीपार आईटीआई के पास उक्त नशे की टेबलेट बेचने के लिए खड़ा था जिससे अनुमान लगाया जा सकता था है कि उसे मालूम था कि उस स्थान पर आईटीआई में पढ़ने वाले बच्चे, युवा लोग बड़ी संख्या में आते हैं और उसका नशे का सामान खरीद लेंगे। नशे के सौदागर अभी अपने नशे की चीजों को बेचने के लिए सार्वजनिक स्थल खेलकूद मैदान, पार्क उद्यान, स्कूल कॉलेज के आसपास की जगह को अपना मुख्य अड्डा बना रहे हैं।उसे ऐसी नशीली टेबलेट उपलब्ध कराने वालों में कई लोगों का हाथ हो सकता है जोकि उसे यह अवैध काम करने के लिए उकसा रहे हो तथा आर्थिक मदद कर रहे होंगे।इस अवैध कारोबार को जड़ से मिटाना है तो इन तथ्यों का पर्दाफाश भी किया जाना भी जरूरी है। यह भी उल्लेखनीय है कि सुपेला थाना क्षेत्र के अंतर्गत है पूर्व में नशे की आपूर्ति करने वाले कई आरोपी पहले भी पकड़े जा चुके हैं।
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