न ही कोई समन न कोई आदेश, सरकार गिरफ्तारी की नौटंकी कर, हार से बचने की कोशिश कर रही है : बृजमोहन अग्रवाल* छत्तीसगढ़ और झारखंड सरकार की मिलीभग...
न ही कोई समन न कोई आदेश, सरकार गिरफ्तारी की नौटंकी कर, हार से बचने की कोशिश कर रही है : बृजमोहन अग्रवाल*
छत्तीसगढ़ और झारखंड सरकार की मिलीभगत : बृजमोहन अग्रवाल
इस तरीके के कुत्सित प्रयास कर कांग्रेस सरकार ने पूरे आदिवासी समाज को किया अपमानित : बृजमोहन अग्रवाल
भानुप्रतापपुर।
असल बात न्यूज़।।
भानुप्रतापपुर उपचुनाव में भाजपा प्रत्याशी ब्रह्मानंद नेताम की गिरफ्तारी को लेकर झारखंड पुलिस छत्तीसगढ़ पहुंचने की खबर फैलने के बाद राज्य की राजनीति में नया मोड़ आता दिख रहा है । ब्रम्हानंद नेताम के खिलाफ कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम ने दुष्कर्म के मामले का आरोप लगाया था। यह मामला झारखंड के टेल्को थाना में दर्ज है, जिसके चलते झारखंड की पुलिस गिरफ्तारी करने छत्तीसगढ़ पहुँची है।
इस सारे मामले पर मीडिया को अपना बयान देते हुए उपचुनाव प्रभारी बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि, तीन साल से इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई। मोहन मरकाम जी द्वारा पीड़िता का नाम उजागर करना, इस प्रकार गिरफ्तारी का मामला सामने आना, चुनाव में प्रत्याशी के खिलाफ कार्रवाई करना; लोकतंत्र की हत्या है। भाजपा इससे डरने वाली नहीं है। अगर हमारे प्रत्याशी को जेल हुई फिर भी यहां की जनता व कार्यकर्ता मिल कर ब्रम्हानंद नेताम को चुनाव जिताएगी।
बृजमोहन अग्रवाल ने सरकार के ऊपर आरोप लगाते हुए कहा कि इस आरोप का न ही कोई समन न कोई आदेश जारी हुआ। अचानक से आरोप लगा दिए गए और आज गिरफ्तारी भूपेश बघेल की घबराहट को साफ जाहिर करती है। उन्हें हार की आशंका लगातार सता रही है जिस कारण वो इस प्रकार हरकत अपने पड़ोसी राज्य के साथ मिलकर कर रहे है। जिस दिन से हमने ब्रम्हानंद नेताम को अपना प्रत्याशी घोषित किया है उसी दिन से पूरी कांग्रेस सरकार हिल गयी। पहले दिन कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम ने जब ये आरोप लगाते हुए बयान व कागजात जारी किए, तभी से यह समझ में आ गया था कि यह छत्तीसगढ़ सरकार और झारखंड सरकार की मिलीभगत है।
बृजमोहन अग्रवाल ने आगे यह भी कहा कि, इस सरकार ने आदिवासी समाज के एक भोले-भाले नेता के ऊपर आरोप लगाकर तथा चुनावी माहौल में उसकी गिरफ्तारी के कुत्सित प्रयास कर, पूरे आदिवासी समाज को अपमानित करने काम किया है। इतना ही नहीं, भूपेश सरकार ने अम्बेडकराइट पार्टी के आदिवासी समाज के प्रत्याशी का अपहरण कर उसपर दबाव बनाने की कोशिश की। सरकार अपने आप को हार से को बचाने के लिए ये सारे आड़े-टेढ़े प्रयास कर रही है, पर इन्हें हार से कोई नहीं बचा सकता।