नई दिल्ली. असल बात news. प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज आपातकाल और उसके बाद की जाने वाली ज्यादतियों की कड़ी निंदा करने के लिए मा...
नई दिल्ली.
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज आपातकाल और उसके बाद की जाने वाली ज्यादतियों की कड़ी निंदा करने के लिए माननीय लोकसभा अध्यक्ष की सराहना की।
श्री मोदी ने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा:
"मुझे खुशी है कि माननीय अध्यक्ष ने आपातकाल की कड़े शब्दों में भर्त्सना की है। उन्होंने आपातकाल के दौरान की जाने वाली ज्यादतियों को उजागर किया और यह भी बताया कि किस तरह से लोकतंत्र का गला घोंटा गया था। उस दौरान कष्ट झेलने वाले लोगों के सम्मान में मौन धारण करना बहुत भावपूर्ण था।
आपातकाल 50 साल पहले लगाया गया था, लेकिन आज के युवाओं के लिए इसके बारे में जानना महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह इस बात का सटीक उदाहरण है कि जब संविधान को रौंदा जाता है, जनमत को दबाया जाता है और संस्थाओं को नष्ट किया जाता है, तो क्या होता है। आपातकाल के दौरान होने वाली घटनाओं से पता चलता है कि तानाशाही कैसी होती है।"
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने वहीं श्री ओम बिरला को दूसरी बार लोकसभा का अध्यक्ष चुने जाने पर बधाई दी। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि सदन को नवनिर्वाचित अध्यक्ष की सूझ-बूझ और अनुभव से बहुत लाभ होगा।
श्री मोदी ने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा:
"मैं श्री ओम बिरला जी को दूसरी बार लोकसभा अध्यक्ष चुने जाने पर बधाई देता हूं। सदन को उनकी सूझ-बूझ और अनुभव से बहुत लाभ होगा। उन्हें आसन्न कार्यकाल के लिए मेरी शुभकामनाएं।"
उपराष्ट्रपति श्री जगदीप धनखड़ ने आपातकाल लागू किए जाने के आलोचना करते हुए आज कहा कि 1975 में आपातकाल लागू होने के कारण दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र अंधेरे में डूब गया था। आपातकाल के काले दिनों को याद करते हुए श्री धनखड़ ने कहा कि वे दिन फिर कभी नहीं देखने को मिलेंगे क्योंकि भारत में लोकतंत्र बहुत मजबूत है और अब गाँव, राज्य और केंद्रीय स्तर पर संवैधानिक रूप से लोकतंत्र सुदृढ़ है।
उत्तर प्रदेश के गाज़ियाबाद में सेंट्रल इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (सीईएल) के स्वर्ण जयंती समारोह को संबोधित करते हुए, श्री धनखड़ ने वैज्ञानिकों और प्रौद्योगिकीविदों की भूमिका की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए उन्हें नए भारत का निर्माता बताया।
सरकार द्वारा कुछ वर्ष पहले घाटे में चलने वाले उपक्रम CEL का विनिवेश करने की दिशा में कदम उठाये गये थे। लेकिन हाल ही में CEL ने बहुत उत्साहजनक प्रदर्शन करके लाभ अर्जित करने वाली ‘मिनीरत्न’ कंपनी बन गयी। CEL को 'मिनीरत्न' का दर्जा दिए जाने की सराहना करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि CEL अन्य सभी संस्थानों के लिए एक रोल मॉडल है और इसकी सफलता से प्रेरणा लेकर उन्हें आगे बढ़ना चाहिए।