भगवान बिरसा मुंडा की विरासत और राष्ट्र निर्माण में आदिवासी समुदायों के योगदान का उत्सव मनाने के लिए पदयात्रा 10,000 से अधिक माई भारत यूथ व...
भगवान बिरसा मुंडा की विरासत और राष्ट्र निर्माण में आदिवासी समुदायों के योगदान का उत्सव मनाने के लिए पदयात्रा
10,000 से अधिक माई भारत यूथ वालंटियर्स भगवान बिरसा मुंडा के सम्मान में पदयात्रा में शामिल होंगे
केंद्रीय युवा कार्यक्रम और खेल तथा श्रम एवं रोजगार मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया आगामी 13 नवंबर को छत्तीसगढ़ के जशपुर में जनजातीय गौरव दिवस पर माई भारत यूथ वालंटियर्स के साथ पदयात्रा करेंगे। इस पदयात्रा में छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के साथ राज्य के अन्य मंत्री भी शामिल होंगे। यह कार्यक्रम भगवान बिरसा मुंडा की जन्म जयंती के उपलक्ष्य में उनकी विरासत और देश के विकास में आदिवासी समुदायों के महत्वपूर्ण योगदान के सम्मान में मनाया जाएगा।
इस विशेष कार्यक्रम में आदिवासी विरासत को याद करने, समावेशिता को बढ़ावा देने और आदिवासी समुदायों को लाभ पहुंचाने वाली सरकारी योजनाओं के बारे में जागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य से 10,000 से अधिक माई भारत यूथ वालंटियर्स भाग लेंगे। ये वालंटियर्स आदिवासी संस्कृति, विरासत और विरासत की रक्षा और संरक्षण की भावना को बढ़ावा देंगे।
पदयात्रा कोमोडो गांव से शुरू होगी और लगभग 7 किलोमीटर की दूरी तय करते हुए रणजीत स्टेडियम में समाप्त होगी। यह पदयात्रा युवाओं, आदिवासी नेताओं और समुदाय के सदस्यों को आदिवासी विरासत और भावना के जीवंत उत्सव में एकजुट करेगी।
इस कार्यक्रम की शुरुआत भारत की स्वतंत्रता में आदिवासी नेताओं के योगदान को दर्शाने वाले सांस्कृतिक अभिनय और आदिवासी विरासत की प्रचुरता को दर्शाने वाले नृत्यों से होगी। इस पदयात्रा की शुरुआत प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की ‘एक पेड़ माँ के नाम’ पहल के अनुरूप वृक्षारोपण से होगी।
इस पदयात्रा के दौरान, एक प्रदर्शनी स्थल पर ऐतिहासिक आदिवासी आंदोलनों, आदिवासी नायकों को श्रद्धांजलि और भारत के आदिवासी समुदायों की अनूठी कलात्मकता और शिल्प कौशल का प्रदर्शन किया जाएगा। इस पदयात्रा के मार्ग के ठहराव स्थलों पर आदिवासी संस्कृति, सुंदर रंगोली कलाकृतियां, पेंटिंग और पारंपरिक आदिवासी कला का उत्सव मनाने वाले नाटकों का प्रदर्शन किया जाएगा। सीधी प्रसारित कार्यशालाएं उपस्थित लोगों को आदिवासी नृत्य, संगीत और साहित्य के साथ एक परस्पर अनुभव प्रदान करेंगी जबकि आदिवासी खाद्य पदार्थों का चयन उनके स्वास्थ्य लाभों के बारे में बताएगा।
पदयात्रा के मुख्य आकर्षण में शामिल हैं:
- सांस्कृतिक कार्यक्रम: सांस्कृतिक समृद्धि का उत्सव मनाते आदिवासी नृत्य और संगीत।
- आदिवासी आंदोलनों और कलाओं पर प्रदर्शनी: नाटकों और झांकियों द्वारा ऐतिहासिक आदिवासी आंदोलनों, वीरता और शिल्प कौशल का प्रदर्शन।
- जागरूकता कियोस्क: सरकारी योजनाओं और महिला लाभार्थियों के बारे में जानकारी।