भिलाई. असल बात news. स्वामी श्री स्वरूपानंद सरस्वती महाविद्यालय के शिक्षा विभाग द्वारा बीएड एवं डीएलएड के विद्यार्थियों के लिए ग्रामीण ...
भिलाई.
असल बात news.
स्वामी श्री स्वरूपानंद सरस्वती महाविद्यालय के शिक्षा विभाग द्वारा बीएड एवं डीएलएड के विद्यार्थियों के लिए ग्रामीण परिवेश एवं परिस्थितियों के बारे में जानकारी हेतु एक दिवसीय शैक्षणिक भ्रमण का आयोजन किया गया। विद्यार्थियों के द्वारा ग्राम नंदौरी में जागरूकता के लिए रैलियां, सर्वे का कार्य किया गया जिसमें विद्यार्थियों द्वारा घर-घर जाकर सर्वे के माध्यम से साक्षर लोगों की जानकारी एकत्रित की तथा शिक्षा के प्रति लोगों को जागरूक किया।
विद्यार्थियों ने जागरूकता कार्यक्रम के अंतर्गत तंबाकू निषेध पर नुक्कड़ नाटक द्वारा लोगों को जागरूक किया। संविधान दिवस व बालवीर पर मौलिक अधिकारों व कर्तव्यों की जानकारी देते हुए भारतीय इतिहास से परिचित कराने के लिए विद्यार्थियों द्वारा रैलियां निकाली गयी। आत्मसुरक्षा पर कुछ विद्यार्थियों के समूहों ने महिलाओं को स्वयं की सुरक्षा हमें कैसी करनी चाहिए यह नाटक के माध्यम से लोगों को सामने प्रस्तुत किया गया। महिला स्वास्थ्य सबंधित जानकारी देने के लिए गांव में सर्वे के माध्यम से महिलाओं से विषेष चर्चा की गयी जिसमें एनिमिया, शारीरिक थकान, महावारी समस्या, सर्वाइकल कैंसर निराकरण एवं सेनेटरी नैपकिन के प्रयोग आदि संबंधित महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान की गयी। स्वच्छता, साइबर क्राइम एवं बालविवाह पर भी विद्यार्थियों ने पोस्टर बनाकर, नारे लगाकर लोगों को जागरूक करने का प्रयास किया गया।
सर्वे के दौरान डॉ. दुर्गावती मिश्रा सह.प्रा. शिक्षा विभागने बताया कि गांव के लोग स्वच्छता व साइबर क्राइम के प्रति जागरूक है। सामाजिक तौर पर किसी भी घटनाओं को वहां के नागरिकों द्वारा ग्रामीण स्तर पर ही निराकरण किया जाता है। इसके साथ ही यह जानकारी प्राप्त हुई कि अपने मेहनत से जमा पूंजी पर ही गांव के लोगों का विष्वास है गांव के लोग ऋण लेने से हमेशा पीछे रहते है। एक प्रकार से कहा जाए कि नदौरी गांव एक ऋण मुक्त गांव है।
डॉ. सुनीता चंद्राकर स.प्रा. शिक्षा विभाग ने कहा कि यह गांव चारो तरफ से प्रकृति के गोद में बसा हुआ है, दो बड़े तालाब, आम, आँवला और महुँए के बगीचे हैं, जिसकी विषेशता यह है कि गांव के हर परिवार के नाम से पाँच-पाँच पेड़ लगाए गए हैं जिसमे उनके नाम भी लिखे गए हैं। गांव में एक विशेष कार्य भी देखने को मिला, हर घेरा व गली में समिटीकरण न होकर सोखते का प्रयोग किया गया है जिसमें घरों का पानी तथा बारिष का पानी सीधे जमीन के अंदर जा सकें।
श्रीमती गीतांजलि वर्मा सरपंच नंदौरी गांव ने बताया कि इस गांव यह भी विशेषता है कि माघ मास के पूर्णिमा तिथि पर छेरछेरा पर्व के अवसर पर लोग अपने घर से कुछ राशि पंचायत को दान स्वरूप देते है उस राषि का प्रयोग ग्राम के कल्याण तथा विकास में प्रयोग किया जाता है। यह गांव आर्युवेद जड़ी-बूटियों से भी भरपूर है। सरपंच ने धन्यवाद देकर कहा कि ऐसे सामुदायिक शिविर के आयोजन होने से हमारा गांव और भी विकासशील बनेगा।
गांव के नागरिक श्री अश्विनी बंछोर द्वारा सांप के काटने पर बचाव एवं अन्य बीमारियों के लिए भी औषधियों की जानकारी दी जाती है।
महाविद्यालय के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ. दीपक शर्मा ने कहा कि भावी शिक्षकों को वर्तमान परिप्रेक्ष्य में ग्रामीण परिवेश से परिचित कराने हेतु सामुदायिक शिविर का आयोजन के लिए लाभकारी बताया। प्राचार्य डॉ. हंसा शुक्ला ने कहा कि शैक्षिक भ्रमण से विद्यार्थी गांव की संस्कृति, कार्यप्रणाली से रूबरू होते है एवं पेड़-पौधों का संरक्षण कर प्राकृतिक संसाधनों के उपयोग को समझ सकेंगें।
उपप्राचार्य डॉ. अजरा हुसैन ने कहा कि शैक्षणिक भ्रमण का पाठ्यक्रम में शामिल होना काफी महत्वपूर्ण है, जिससे प्रशिक्षणार्थी को ग्रामीण परिवेश से सीखने एवं अनुभव करने की उपलब्धि प्राप्त हुई।
शैक्षिक भ्रमण को सफल बनाने में गांव के ही गणमान्य नागरिक श्री पवन बंछोर, श्री अश्विनी बंछोर, श्री राजकुमार वर्मा, श्रीमति लक्ष्मी वर्मा का बहुत बड़ा योगदान रहा।
शैक्षणिक भ्रमण में डॉ. पूनम निकुम्भ विभागाध्यक्ष शिक्षा विभाग सह.प्रा. डॉ. मंजू कनोजिया, स.प्रा. डॉ. अभिलाषा शर्मा शिक्षा विभाग ने विशेष सहयोग दिया एवं समस्त प्राध्यापकों व विद्यार्थियों का योगदान सराहनीय रहा।