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ये सब...मांगे मोर.... But,अब नहीं है और.....

  पाटन, दुर्ग.  असल बात न्यूज़.   कोई यह तो दावे के साथ नहीं कह रहा है कि इतनी बड़ी मात्रा में 500 पेटी दारू चुनाव में मतदाताओ को बांटने के ...

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पाटन, दुर्ग.

 असल बात न्यूज़.  

कोई यह तो दावे के साथ नहीं कह रहा है कि इतनी बड़ी मात्रा में 500 पेटी दारू चुनाव में मतदाताओ को बांटने के लिए लाई गई थी. लेकिन अभी चुनाव है,प्रत्याशियों को चुनाव प्रचार करने गांव-गांव में गली-गली घूमना पड़ रहा  है,मतदाताओं को आकर्षित करने तरह-तरह के वादे करने पड़ रहे हैं.तो ऐसे में, इतनी भारी मात्रा में दारू पकड़े जाने के बाद, इस प्रकरण में कुछ कहे बिना भी कुछ देखे बिना भी शक की सुई घूम-फिर कर उधर ही चली जाती है.अब मतदान के दिन जैसे-जैसे करीब आते जाएंगे, चुनाव प्रचार घमासान होता जाएगा. गली गली में जनसंपर्क सभाएं तेज होती जाएगी. भीतर खाने में यह आवाज जरूर सुनाई देती महसूस होगी कि....सब मांगे मोर..... लेकिन दिल से शायद कराह भरी यरी यहीं आवाज़ निकलेगी कि...अब तो नहीं है और... आगे और कुछ व्यवस्था हो जाए तो कहा नहीं जा सकता.

पाटन क्षेत्र में फिलहाल तो ऐसा ही वाक्या नजर आ सकता है. यहां 500 पेटी दारू पकड़ ली गई है.. इतनी बड़ी मात्रा में दारू पकड़े  जाने के बाद राजनीतिक सरगर्मी काफी तूफान पर आ गई है आरोप-प्रत्यारोपों का दौर भी शुरू हो गया है.पूरा चुनाव तू डाल-डाल तो मैं पात -पात वाला खेल होता है. यहां अभी कांग्रेस, बैकफुट में चली गई दिख रही है. तो वह अपनी वापसी करने की भी पूरी कोशिश करने में लगी रहेगी. भाजपा कार्यकर्ताओं,बीजेपी से जुड़े लोगों का उत्साह, इस समय देखते ही बन रहा है. लग रहा है कि चुनाव परिणाम आने के पहले ही,बड़ा किला फतह कर लिया है. नई परिस्थितियों में अब एक दूसरे पर, नजर रखने की प्रतिस्पर्धा भी बढ़ती जा रही है.

कुछ लोग कहते सुनाई दे रहे हैं कि पाटन में,बड़ा खेला हो गया है.. कोई ऐसा करता है क्या... दो-दो बड़े राज्यों से होकर सुरक्षित चली आई... कोई टोका नहीं,कोई रोका नहीं... पूछने की बात तो दूर है,कोई देखा तक नहीं... जहां उतरना था डंप होना था वहीं पकड़ लिया गया....सारा समीकरण ही बिगड़ गया...,दुर्ग,.. भी यहीं से जाना था.... एक दिन बाद ही तो है.. अब क्या किया जा सकता है... सर पर हाथ धर कर बैठे रहने के सिवा... दुर्ग के लिए.. तो...कोई रास्ता ही नहीं बच रहा है..